लाइव कॉलिंग से लोगों को ठगते थे शातिर, वाराणसी साइबर टीम ने मध्यप्रदेश से दो आरोपी दबोचे
शेयर ट्रेडिंग के नाम पर साइबर ठगी का भंडाफोड़
तकनीकी सर्विलांस
से
पकड़े
गए
आरोपी
सुरेश गांधी
वाराणसी। शेयर बाजार में निवेश का सपना दिखाकर लाखों की ठगी करने वाले दो शातिर ठगों को वाराणसी पुलिस की साइबर क्राइम टीम ने मध्य प्रदेश से गिरफ्तार किया है। आरोपी फर्जी वेबसाइट और मोबाइल एप के जरिये लाइव कॉलिंग के माध्यम से निवेशकों को जाल में फंसा कर मोटी रकम ऐंठते थे। इस गैंग ने एक वाराणसी निवासी से 7.11 लाख की ठगी की थी। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान रविंद्र सिंह उर्फ रवि ठाकुर (निवासी - भाटीखेड़ा, थाना जावर, सिहोर) और नितेश सिंह उर्फ नितेश सैंधव (निवासी - ताल्दी, थाना सोनकच, देवास) के रूप में हुई है। दोनों ने “ फारेक्स इंवेस्टमेंट”, “एफ एक्ट ग्रो” जैसे नामों से फर्जी प्लेटफॉर्म तैयार किए थे।
डीसीपी क्राइम सरवणन टी. के अनुसार, एडीसीपी नीतू, एसीपी विदुष सक्सेना और साइबर थाना प्रभारी राकेश गौतम के नेतृत्व में गठित टीम ने तकनीकी साक्ष्य के आधार पर मध्य प्रदेश के कई जिलों में दबिश दी और दोनों आरोपियों को लाइव कॉलिंग के दौरान रंगे हाथ गिरफ्तार किया। गिरफ्तारी टीम में निरीक्षक राकेश गौतम, एसआई संजीव कुमार कनौजिया, आलोक सिंह, एएसआई श्यामलाल गुप्ता सहित कई पुलिसकर्मी शामिल रहे।
ठगी का तंत्र
पहले लाभ, फिर
घाटा और आखिर में
ब्लॉक, कॉल कर वेबसाइट
पर डीमैट अकाउंट खुलवाते, पहले छोटे निवेश
पर मुनाफा दिखाकर विश्वास जीतते, फिर बड़े इन्वेस्टमेंट
कराकर अकाउंट प्रोटेक्शन और जीएसटी के
नाम पर और रकम
ऐंठते, अंत में संपर्क
काटकर नए लोगों की
तलाश शुरू कर देते.
वाराणसी के शैलेश से हुई थी ठगी
टकटकपुर अजय विहार कॉलोनी
निवासी शैलेश अस्थाना ने साइबर थाना
में तहरीर दी थी। उन्होंने
बताया कि आरोपियों ने
वेबसाइट पर उनका डीमैट
खाता खोलकर ट्रेडिंग में घाटा दिखाया
और जीएसटी सहित अन्य कारणों
से 7.11 लाख की ठगी
कर ली।
जरूरी सावधानियां
डीसीपी क्राइम की अपील है
कि किसी भी अनजान
वेबसाइट या ऐप पर
डीमैट अकाउंट न खोलें, ट्रेडिंग
से पहले हमेशा प्लेटफॉर्म
का डेमो और प्रमाणिकता
जांचें, निवेश की राशि बढ़ाने
से पहले सतर्कता बरतें,
पासवर्ड मजबूत रखें और टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन का उपयोग करें,
पब्लिक वाई-फाई या
साइबर कैफे से लॉगिन
न करें, ऑर्डर बुक और बैंक
स्टेटमेंट रोज़ जांचते रहे.
सावधानी ही सुरक्षा है!
अगर
आप भी ऑनलाइन ट्रेडिंग
कर रहे हैं, तो
किसी भी वेबसाइट या
कॉल पर अंधा विश्वास
न करें। अधिक मुनाफे का
झांसा साइबर ठगी का नया
हथियार बन चुका है।
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