Friday, 16 March 2018


भदोही महोत्सव में अनुप जलोटा के भजन पर झूमी डालरनगरी
तीन दिवसीय महोत्व का आगाज, पूर्व केन्द्रीय मंत्री कलीराज मिश्र ने किया उद्घाटन
सुरेश गांधी 
भदोही। रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ ही भदोही महोत्सव का आगाज हो चुका है। गलीचों का शहर विविध संस्कृति के रंग में डूब चुका है। कार्यक्रम में राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय मंच को सुशोभित करने वाले प्रसिद्ध गायक एवं भजन सम्राट अनुप जलोटा ने अपनी जादुई आवाज में ऐसी तान बिखेरी कि लोग झूमने लगे। एक के बाद एक भजन सुनाकर उन्होंने सुधीय रसिकों को भक्ति संगीत में सराबोर कर दिया। भक्तिरस में पगे रसों में डूबकर रसिक मदहोश हो गए। जग में सुंदर हैं दो नाम चाहे कृष्ण कहो या राम..., कभी राम बन के कभी श्याम बन के प्रभुजी चले आना... गाया तो सम्पूर्ण वातावरण में भक्ति की गरमाहट दौड़ गई। बीच-बीच में अपने साथी संगतकारों के साथ हंसी-ठिठोली कर श्रोताओं को खूब गुदगुदाया। हमने खत लिखकर उनको बुलाया...,सुनाया तो श्रोता झूम उठे। इस भक्तिमय शाम को रसिक शायद ही कभी भुला पायेंगे। समारोह स्थल के आसपास की गई रंगीन रोशनी ने माहौल को और भी मनमोहक बना दिया।
इसके पूर्व भदोही महोत्सव का उद्घाटन भाजपा के वरिष्ठ नेता, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सांसद कलराज मिश्र ने दीप प्रज्जवलित कर किया। उनके साथ एस व्यासा विवि, बेंगलुरु के कुलाधिपति पद्मश्री डॉ. एचआर नागेंद्र, भाजपा के प्रदेश महामंत्री विजय पाठक, भदोही विधायक रविन्द्र त्रिपाठी, पूर्व विधायक पूर्णमासी पंकज भी मौजूद थे। श्री मिश्र ने कहा, समारोह में उनका आना उनके स्वयं के लिये गौरव की बात है। यह महोत्सव भदोही की शान पेश करता है। भदोही में इस तरह के कार्यक्रम आयोजित करने के लिए फिल्म निदेशक कृष्णा मिश्रा एवं जीवन दीप हास्पिटल के डाॅक्टर एके गुप्ता, सीनियर चाटर्ड एकाउंटेंट केपी दुबे बधाई के पात्र है। इसके बाद भजन सम्राट ने जैसे ही मंच सेऐसी लागी लगन मीरा हो गई मगनसे गायन की शुरूआत की माहौल भक्तिमय बन गया। साल 2012 में पदमश्री अवार्ड से नवाजे जा चुके जलोटा ने जैसे ही लाल मेरी रखिया भला झूले लालन सिंदरी दा सेवन दा दमादम मस्त कलंदर..., ‘राम नाम की लूट है लूट सके तो लूट अंतकाल जब पछताएगा प्राण जाएंगे छुट..‘ गीत की प्रस्तुति दी दर्शक झूमने लगे।बेवफा यूं तेरा मुस्कुराना भूल जाने के काबिल नहीं है...,यशोमति मैया से बोले नंदलाला राधा क्यों गोरी मैं क्यूं काला... गाया तो समारोह स्थल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंजने लगा। इसके बाद इतना तू करना स्वामी जब प्राण तन से निकले..., प्रभुजी तुम चंदन हम पानी..., गोविंद जय जय गोपाल जय जय राधा रमण हरि गोविंद जय जय..., मेरे मन में कृष्णा तन में सांसों में धड़कन में है कृष्णा..., रंग दे चुनरिया..., दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। श्रोताओं पर उनका ऐसा जादू चला कि रात के डेढ़ घंटे कब बीत गए पता नहीं चला।
जलोटा को देखने और सुनने पूरे भदोही के पुरूष महिलाओं के साथ-साथ बच्चे भी उमड़ पड़े थे। गोविंद जय जय गोपाल जय जय भजन गीत के साथ उन्होंने कार्यक्रम का समापन किया। उनके साथ मुंबई से आए साथी कलाकार तबला पर अरशद, संतूर पर रोहन रत्नकृष्ण, गिटार पर धीरेन रायचूरा, को स्टार संजय सानू, मुंबई की गरिमा जैन, बिहार के रंजीत थे। बिहार के रंजीत से उन्होंने कौन कहता है भगवान आते नहीं मां यशोदा के जैसे बुलाते नहीं... गवाई। अनूप जलोटा ने दूसरी भजन संगीत के बाद ही बीच-बीच में शेरो शायरी सुनाकर भी श्रोताओं का खूब मनोरंजन किया। अपने को स्टार गजल गायिका मुंबई की गरिमा जैन के साथ अनूप जलोटा ने यशोमति मैया से बोले नंदलाला राधा क्यूं गोरी मैं क्यूं काला और पालन हारे निर्गुण और न्यारे तुम्हरे बिन हमरा कौनो नहीं... गीत गाए।  भजन के दौर के बाद मिमिक्री कलाकार, नागेश बुरबुरे ने कई बॉलीवुड कलाकारों की आवाज निकालकर लोगों का मनोरंजन किया। दर्शक दीर्घा में बैठे लोगों ने तालियां बजाकर उनकी मिमिक्री की प्रसंशा की। कार्यक्रम में विन्यध्याचल मंडल के पुलिस महानिदेशक विजय मीणा, जिलाधिकारी विशाख जी, एसपी सचींद्र पटेल, आनंद मिश्रा, ओंकार मिश्रा उर्फ बच्चा सहित अधिकारी और जनप्रतिनिधि मौजूद रहे। मुंबई से फोटोग्राफर अतुल का खास योगदान रहा। उनके कैमरे की नजर में हर वह शख्स था, जो कार्यक्रम के हिस्सा रहे।
लंबी सांस का राज है प्राणायाम
भजन संगीत और गजल की प्रस्तुति के बीच जलोटा ने कहा कि लंबी सांस का राज बाबा रामदेव का प्राणायाम है। संगीत के क्षेत्र में शुरूआत ऑल इंडिया रेडियो पर कोरस सिंगर के तौर पर करने वाले भजन सम्राट भदोही में पहली बार किसी कार्यक्रम में शामिल होने आए थे।



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