देश हित के अलावा किसी और का हित नहीं सोचूंगा : मोदी
सुरेश गांधी
वाराणसी। प्रधानमंत्री नरेंद्र
मोदी गुरुवार को
रोड शो के
बाद काशी के
प्रबुद्धजनों से मिले।
होटल डि पेरिस
में प्रबुद्धजनों को
संबोधित करते हुए
मोदी ने कहा
कि चाहे कुछ
हो जाए देशहित
के अलावा किसी
और का हित
नहीं सोचूंगा। उन्होंने
और उरी
की घटनाओं का
जिक्र करते हुए
कहा कि मेरे
जीवन का एक
ही मंत्र हैए
राष्ट्र प्रथम, इंडिया फर्स्ट। इस दौरान
उन्होंने काशी में
पांच साल में
किये गए काम
का रिपोर्ट कार्ड
रखा।
चुनावी दौरे
पर होने के
बाद भी उन्होंने
एक बार भी
किसी विरोधी पार्टी
का नाम लिए
बगैर कहा, हम
काशी को बिजनेस
हब बनाएंगे। पीएम
ने कहा, ’जब
पांच साल पहले
मैं काशी आया
था, तो मैंने
कहा था कि
मां गंगा ने
मुझे बुलाया हैं।
मुझे एक सांसद
के रुप में
काशी के ज्ञान
से जुड़ने और
उसे आगे बढ़ाने
का अवसर मिला।
मैं इसके लिए
बाबा विश्ववाथ और
मां गंगा के
प्रति पूर्ण श्रद्धाभाव
से नमन करता
हूं। काशी ने
मुझे सिर्फ एमपी
नहीं, बल्कि पीएम
बनने का आशीर्वाद
दिया। मुझे 130 करोड़
भारतीयों के विश्वास
की ताकत दी।
पीएम मोदी
ने बनारस में
कहा, ’गंगा मैया
ने ऐसा दुलार
दिया, काशी के
भाइयों-बहनों ने इतना
प्यार दिया कि
बनारस के फक्कड़पन
में ये फकीर
भी रम गया।
ये मेरा सौभाग्य
है कि काशी
की वेद परंपरा
को ज्ञान के
विश्लेषण और तार्किक
अनुभवों से जुड़
सका। काशी का
ये प्रसाद मुझे
अपने सामाजिक और
राजनीतिक जीवन को
तार्किक बनाने की शक्ति
देता है। काशी
की धार्मिक आस्था
से महात्मा बुद्ध,
गोस्वामी तुलसीदास, संत रविदास,
कबीरदास, रामानंद जैसे विचारकों
ने प्रेरणा ली।
सत्य, न्याय, अहिंसा
और ज्ञान की
इस प्रेरणा ने
मुझे भी वैश्विक
स्तर पर इन
मूल्यों के साथ
खड़े होने का
संबल दिया है।
आतंकवाद के मुद्दे
पर पूर्ववर्ती कांग्रेस
सरकारों पर निशाना
साधते हुए पीएम
मोदी ने कहा,
’यहां संकटमोचन मंदिर
समेत हमारे आस्था
के केंद्रों पर
2005 से 2014 तक लगातर
आतंकी हमले हुए।
यहां पर आरती
कर रहे निर्दोष
भक्तों की कायरतापूर्ण
हत्या को याद
कर आज भी
रोंगटे खड़े हो
जाते हैं। उस
समय की सरकार
हर हमले के
बाद वार्ता के
अलावा कुछ नहीं
करती थी। मोदी
ने कहा, पिछले
5 साल में किसी
मंदिर पर आतंकी
हमला नहीं हुआ।
आतंकियों को बता
दिया कि नया
भारत सहता नहीं,
मुंहतोड़ जवाब देता
है। मानवता का
फर्जी चोला पहनने
वालों पर भी
लगाम कसी। हमने
आतंकियों को बता
दिया कि नया
भारत सहता नहीं,
मुंहतोड़ जवाब देता
है।
उन्होंने कहा कि
जब मैं 17 मई
2014 को काशी आया
था तो मन
में सवाल था
कि क्या काशी
की उम्मीदों पर
खरा उतर पाउंगा,
लेकिन आज लग
रहा है कि
बाबा के आशीर्वाद
से काशी के
बदलाव को दुनिया
महसूस कर रहा
है। काशी ने
मुझे सिर्फ एमपी
नहीं पीएम बनने
का आशीर्वाद दिया।
मुझे 130 करोड़ भारतीयों
के विश्वास की
ताकत दी। समर्थ,
सम्पन्न और सुखी
भारत के लिए
विकास के साथ-साथ सुरक्षा
अहम है। मेरा
यह मत रहा
है कि परिवर्तन
तभी सार्थक और
स्थायी होता है,
जब जन-मन
बदलता है। इस
जन-मन को
साधने के लिए
तपस्या करनी पड़ती
है। मैं मानता
हूं कि इस
समय भारत भी
तपस्या के दौर
में है। वो
खुद को साध
रहा है और
इस साधना में
हम सब एक
सेवक हैं, साधक
हैं।
जब मैं
बहुत पहले काशी
आया था तो
उस समय एयरपोर्ट
से शहर तक
आने वाले रास्ते
को देखकर बहुत
पीड़ा हुई थी।
शहर में पहुंचा
तो बार-बार
बिजली के लटकते
तारों से सामना
हुआ। मन में
विचार उठा यहां
गंदगी के ढेर
क्यों हैं। मैं
आज कह सकता
हूं कि हम
सभी के सामूहिक
प्रयास और बाबा
के आशीर्वाद से
काशी के बदलाव
को काशीवासियों समेत
पूरा देश अनुभव
कर रहा है।
मैं आज कह
सकता हूं कि
हम सभी के
सामूहिक प्रयास और बाबा
के आशीर्वाद से
काशी के बदलाव
को काशीवासियों समेत
पूरा देश अनुभव
कर रहा है।
हमारी विरासत, हमारी
आस्था के प्रतीक
बाबा विश्वनाथ और
गंगा मां की
सेवा का अवसर
मिलना वाकई सौभाग्य
है। देश की
सुरक्षा को लेकर
उन्होंने अपनी वचनबद्धता
भी दोहराई। गंगा
की निर्मलता के
लिए सरकार के
प्रयायों को जहां
उनहोंने जनता के
सामने रखा वहीं
पीएम ने पांच
साल के अपने
विकास कार्यों को
भी गिनाते हुए
जनहित की योजनाओं
को अपनी प्राथमिकता
बतायी। पीएम ने
अपने पांच वर्ष
के कार्यकाल का
लेखा जोखा पेश
करते हुए कार्यकर्ताओं
से देश निर्माण
के लिए आगे
आने की अपील
भी की।
No comments:
Post a Comment