जम्मू-कश्मीर में दिखाई दे रहा नव-जागरण : राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद
सभी परिवार ओलिंपिक में बेटियों की कामयाबी से सीख लें, अपनी बेटियों को आगे बढ़ने के मौके देंसभी
देशवासी
कोविड
महामारी
के
प्रकोप
से
मुक्त
हों
तथा
सुख
और
समृद्धि
के
मार्ग
पर
आगे
बढ़े
आज बेटियों
की
सफलता
में
भारत
की
झलक
दिखती
है
सुरेश गांधी
दिल्ली।
देश के 75वें स्वतंत्रता दिवस से पहले शनिवार
को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने देश को
संबोधित किया। सबसे पहले उन्होंने देश-विदेश में रहने वाले सभी भारतीयों को स्वाधीनता दिवस
की शुभकामनाएं दीं। कहा कि यह दिन
हम सभी के लिए बहुत
हर्ष और उल्लास का
दिन है। इस साल के
स्वाधीनता दिवस का खास महत्व
है, क्योंकि इसी साल से हम सब
अपनी आजादी की 75वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में
आजादी का अमृत महोत्सव
मना रहे हैं। कई पीढ़ियों के
ज्ञात और अज्ञात स्वतंत्रता
सेनानियों के संघर्ष से
हमारी आजादी का सपना साकार
हुआ था। उन सभी ने
त्याग और बलिदान के
अनूठे उदाहरण पेश किए।
मैं उन सभी अमर
सेनानियों की पावन स्मृति
को नमन करता हूं। राष्ट्रपति ने इस दौरान
टोक्यो ओलिंपिक की कामयाबी, कोरोना
से उपजे संकट, किसान और वैक्सीनेशन अभियान
पर बात की। इस दौरान उन्होंने
कहा कि, इन 75 सालों में देश ने एक लंबा
रास्ता तय किया है।
आज बेटियों की सफलता में
भारत की झलक दिखती
है। बेटियों ने ओलंपिक में
शानदार प्रदर्शन कर भारत का
नाम रोशन किया है।’’जम्मू-कश्मीर के निवासियों, विशेषकर
युवाओं से इस अवसर
का लाभ उठाने और लोकतांत्रिक संस्थाओं
के माध्यम से अपनी आकांक्षाओं
को साकार करने के लिए सक्रिय
होने का आग्रह करता
हूं। अब जम्मू-कश्मीर
में नव-जागरण दिखाई
दे रहा है। सरकार ने लोकतंत्र और
कानून के शासन में
विश्वास रखने वाले सभी पक्षों के साथ परामर्श
की प्रक्रिया शुरू कर दी है।
ओलिंपिक की कामयाबी पर
हाल ही में हुए
टोक्यो ओलिंपिक में भारत ने अपनी भागीदारी
के 121 साल में सबसे ज्यादा मेडल जीतने का इतिहास रचा
है। हमारी बेटियों ने कई रुकावटों
को पार करते हुए खेल के मैदानों में
विश्व स्तर की उत्कृष्टता हासिल
की है। एजुकेशन से लेकर सेना,
प्रयोगशालाओं से लेकर खेल
के मैदानों तक हमारी बेटियां
अपनी अलग पहचान बना रही हैं। बेटियों की इस कामयाबी
में मुझे भविष्य के विकसित भारत
की झलक दिखाई देती है। मैं हर माता-पिता
से गुजारिश करता हूं कि वे ऐसी
होनहार बेटियों के परिवारों से
शिक्षा लें और अपनी बेटियों
को भी आगे बढ़ने
के मौके दें।
अमर सेनानियों को किया नमन
राष्ट्रपति ने कहा कि,
’कई पीढ़ियों के ज्ञात और
अज्ञात स्वतंत्रता सेनानियों के संघर्ष से
हमारी आजादी का सपना साकार
हुआ था. उन सभी ने
त्याग व बलिदान के
अनूठे उदाहरण प्रस्तुत किए. मैं उन सभी अमर
सेनानियों की पावन स्मृति
को श्रद्धापूर्वक नमन करता हूं. हाल ही में संपन्न
टोक्यो ओलंपिक में हमारे खिलाड़ियों ने अपने शानदार
प्रदर्शन से देश का
गौरव बढ़ाया है. मैं हर माता-पिता
से आग्रह करता हूं कि वे होनहार
बेटियों के परिवारों से
शिक्षा लें और अपनी बेटियों
को भी आगे बढ़ने
के अवसर प्रदान करें।
कोरोना का प्रभाव खत्म नहीं हुआ
कोरोना महामारी पर राष्ट्रपति ने
कहा कि, ’महामारी की तीव्रता में
कमी आई है. लेकिन
कोरोना-वायरस का प्रभाव अभी
समाप्त नहीं हुआ है. हर तरह के
जोखिम उठाते हुए, हमारे डॉक्टरों, नर्सों, स्वास्थ्य कर्मियों, प्रशासकों और अन्य कोरोना
योद्धाओं के प्रयासों से
कोरोना की दूसरी लहर
पर काबू पाया जा रहा है.
हमारे डॉक्टरों, नर्सों, स्वास्थ्य कर्मियों, प्रशासकों और अन्य कोरोना
योद्धाओं के प्रयासों से
कोरोना की दूसरी लहर
पर काबू पाया जा रहा है।
वैक्सीन है सबसे मजबूत कवच
मैं सभी देशवासियों से आग्रह करता
हूं कि वे प्रोटोकॉल
के अनुरूप जल्दी से जल्दी वैक्सीन
लगवा लें और दूसरों को
भी प्रेरित करें. इस समय वैक्सीन
हम सबके लिए विज्ञान द्वारा सुलभ कराया गया सर्वोत्तम सुरक्षा कवच है. मैं सभी देशवासियों से आग्रह करता
हूं कि वे प्रोटोकॉल
के अनुरूप जल्दी से जल्दी वैक्सीन
लगवा लें. यह तथ्य संतोषजनक
है कि चिकित्सा सुविधाओं
के विस्तार के लिए एक
वर्ष की अवधि में
ही 23,220 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे हैं.’
गांव-शहर के बीच की दूरी हुई कम
उन्होंने कहा कि, ’मुझे इस बात की
खुशी है कि सभी
बाधाओं के बावजूद ग्रामीण
क्षेत्रों में- विशेष रूप से कृषि के
क्षेत्र में- बढ़ोतरी जारी रही है. जब ईज ऑफ
डुइंग बिजनेस (म्ेंम वि क्वपदह ठनेपदमे)
की रैंकिंग में सुधार होता है, तब उसका सकारात्मक
प्रभाव देशवासियों की ईज ऑफ
लिविंग (म्ेंम वि स्पअपदह) पर
भी पड़ता है. एग्रीकल्चरल मार्केटिंग में किए गए अनेक सुधारों
से हमारे अन्नदाता किसान और भी सशक्त
होंगे और उन्हें अपने
उत्पादों की बेहतर कीमत
प्राप्त होगी. अब गांव और
शहरों के बीच की
दूरी कम होने लगी
है।
संसद हमारे लोकतंत्र का हमारा मंदिर है
हमारा लोकतन्त्र संसदीय प्रणाली पर आधारित है,
अतः संसद हमारे लोकतंत्र का मंदिर है.
स्वतंत्रता की 75वीं वर्षगांठ के अवसर पर
इस नए भवन के
उदघाटन को विश्व के
सबसे बड़े लोकतन्त्र की विकास यात्रा
में एक ऐतिहासिक प्रस्थान
बिन्दु माना जाएगा. यह सभी देशवासियों
के लिए बहुत गर्व की बात है
कि हमारे लोकतंत्र का यह मंदिर
निकट भविष्य में ही एक नए
भवन में स्थापित होने जा रहा है.
मेरा हर काम, देश के नाम
कोरोना के संकट का
सामना करने में लाखों लोगों ने अपनी परवाह
न करते हुए मानवता के प्रति निस्वार्थ
भाव से दूसरों के
स्वास्थ्य और प्राणों की
रक्षा के लिए भारी
जोखिम उठाए हैं. ऐसे सभी कोविड योद्धाओं की मैं हृदय
से सराहना करता हूं. सभी कोविड योद्धाओं की मैं हृदय
से सराहना करता हूं. अनेक कोविड योद्धाओं को अपनी जान
भी गंवानी पड़ी है. मैं उन सबकी स्मृति
को नमन करता हूं. ’मेरा हर काम, देश
के नाम.’ यह आदर्श-वाक्य
हम सभी देशवासियों को मंत्र के
रूप में आत्मसात कर लेना चाहिए
तथा राष्ट्र के विकास के
लिए पूरी निष्ठा व समर्पण से
कार्य करना चाहिए।
राष्ट्रपति ने सभी को दी बधाई
राष्ट्रपति ने कहा, ’मैं
सभी प्रवासी भारतीयों की भी प्रशंसा
करता हूं. उन्होंने जिस देश में भी घर बसाया
है, वहां अपनी मातृभूमि की छवि को
उज्ज्वल बनाए रखा है. मैं आप सभी को
भारत के 75वें स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या
पर बधाई देता हूं. यह वर्षगांठ मनाते
हुए मेरा हृदय सहज ही आजादी के
शताब्दी वर्ष 2047 के सशक्त, समृद्ध
और शांतिपूर्ण भारत की परिकल्पना से
भरा हुआ है. मैं यह मंगलकामना करता
हूं कि हमारे सभी
देशवासी कोविड महामारी के प्रकोप से
मुक्त हों तथा सुख और समृद्धि के
मार्ग पर आगे बढ़ें.
मैं यह मंगलकामना करता
हूं कि हमारे सभी
देशवासी कोविड महामारी के प्रकोप से
मुक्त हों तथा सुख और समृद्धि के
मार्ग पर आगे बढ़ें।
राष्ट्रपति के संबोधन की खास बातें...
मुझे इस
बात
की
खुशी
है
कि
सभी
बाधाओं
के
बावजूद
ग्रामीण
क्षेत्रों
में
खास
तौर
से
कृषि
के
क्षेत्र
में
बढ़ोतरी
जारी
रही
है।
जब ईज
ऑफ
डूइंग
बिजनेस
की
रैंकिंग
में
सुधार
होता
है,
तब
उसका
सकारात्मक
प्रभाव
देशवासियों
की
ईज
ऑफ
लिविंग
पर
भी
पड़ता
है।
एग्रीकल्चरल मार्केटिंग
में
किए
गए
अनेक
सुधारों
से
हमारे
अन्नदाता
किसान
और
भी
मजबूत
होंगे
और
उन्हें
अपने
उत्पादों
की
बेहतर
कीमत
मिलेगी।
यह बात
संतोषजनक
है
कि
चिकित्सा
सुविधाओं
के
विस्तार
के
लिए
एक
साल
की
अवधि
में
ही
23,220 करोड़ रुपए खर्च
किए
जा
रहे
हैं।
संसद हमारे
लोकतंत्र
का
मंदिर
है।
यह
सभी
देशवासियों
के
लिए
बहुत
गर्व
की
बात
है
कि
हमारे
लोकतंत्र
का
यह
मंदिर
जल्द
ही
एक
नए
भवन
में
स्थापित
होने
जा
रहा
है।
सरकार ने
इस
विशेष
वर्ष
को
यादगार
बनाने
के
लिए
कई
योजनाएं
शुरू
की
हैं।
गगनयान
मिशन
उन
अभियानों
में
विशेष
महत्व
रखता
है।
हमारे लिए
गर्व
की
बात
है
कि
भारत
ने
न
केवल
पेरिस
जलवायु
समझौते
का
पालन
किया
है,
बल्कि
जलवायु
की
रक्षा
के
लिए
तय
की
गई
प्रतिबद्धता
से
भी
ज्यादा
योगदान
कर
रहा
है।
अब जम्मू-कश्मीर
में
नवजागरण
दिखाई
दे
रहा
है।
सरकार
ने
लोकतंत्र
और
कानून
के
शासन
में
विश्वास
रखने
वाले
सभी
पक्षों
के
साथ
परामर्श
की
प्रक्रिया
शुरू
कर
दी
है।
जम्मू-कश्मीर
के
निवासी
विशेषकर
युवा
इस
मौके
का
फायदा
लें
और
लोकतांत्रिक
संस्थाओं
के
माध्यम
से
अपनी
आकांक्षाओं
को
साकार
करने
के
लिए
सक्रिय
हों।
कोरोना के
संकट
का
सामना
करने
में
लाखों
लोगों
ने
अपनी
परवाह
न
करते
हुए
मानवता
के
लिए
निस्वार्थ
भाव
से
दूसरों
के
स्वास्थ्य
और
प्राणों
की
रक्षा
के
लिए
भारी
जोखिम
उठाए
हैं।
सभी कोविड
योद्धाओं
की
मैं
हृदय
से
सराहना
करता
हूं।
कई
कोविड
वॉरियर्स
को
अपनी
जान
भी
गंवानी
पड़ी
है।
मैं
उन
सबकी
स्मृति
को
नमन
करता
हूं।
मेरा हर
काम,
देश
के
नाम।
यह
आदर्श-वाक्य
हम
सभी
देशवासियों
को
मंत्र
के
रूप
में
आत्मसात
कर
लेना
चाहिए।
राष्ट्र
के
विकास
के
लिए
पूरी
निष्ठा
और
समर्पण
से
काम
करना
चाहिए।
मैं खासतौर
से
सशस्त्र
बलों
के
वीर
जवानों
की
सराहना
करता
हूं,
जिन्होंने
हमारी
स्वतंत्रता
की
रक्षा
की
है,
और
जरूरत
पड़ने
पर
बलिदान
भी
दिया
है।
मैं सभी
प्रवासी
भारतीयों
की
भी
प्रशंसा
करता
हूं।
उन्होंने
जिस
देश
में
भी
घर
बसाया
है,
वहां
अपनी
मातृभूमि
की
छवि
को
उज्ज्वल
बनाए
रखा
है।
मैं यह
कामना
करता
हूं
कि
हमारे
सभी
देशवासी
कोरोना
महामारी
के
प्रकोप
से
मुक्त
हों,
सुख
और
समृद्धि
के
रास्ते
पर
आगे
बढ़ें।
ओलिंपिक पदक
विजेताओं
से
कहा-
आपकी
उपलब्धि
पर
देश
को
गर्व
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने राष्ट्रपति भवन के कल्चरल सेंटर में टोक्यो ओलंपिक-2020 के पदक विजेताओं से मुलाकात की। राष्ट्रपति ने कहा कि टोक्यो में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने के लिए मैं सभी खिलाड़ियों को बधाई देता हूं। आपकी टीम ने ओलिंपिक के इतिहास में सबसे ज्यादा पदक जीते। पूरा देश इस उपलब्धि पर गर्व कर रहा है।
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