ट्रैक्टर की चपेट में आने से दो की मौत, एक बाल-बाल बचा
बाइक पर
सवार
थे
तीनों
सुरेश गांधी
वाराणसी। शहर के बड़ागांव
थाना क्षेत्र के रिंग रोड
फेज एक पर बुधवार
की शाम सड़क हादसे
में दो युवकों की
मौत हो गई। जबकि
उनके साथ बाइक पर
बैठा एक व्यक्ति बाल-बाल बच गया।
दुर्घटना की जानकारी मिलने
के बाद बड़ागांव थाने
की पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और
दोनों का शव कब्जे
में लेकर परिजनों को
सूचना देने के साथ
ही पोस्टमार्टम के लिए भेजते
हुए आवश्यक कार्रवाई में जुटी है।
फूलपुर थाना क्षेत्र के
ताड़ी नेवादा निवासी 35 वर्षीय राम विलास और
28 वर्षीय महताब तथा ठठरा निवासी
जय प्रकाश विश्वकर्मा तीनों लोग फर्नीचर का
काम करते हैं। जय
प्रकाश ने बताया कि
तीनों लोग सारनाथ में
काम करने के बाद
शाम एक ही बाइक
से अपने घर लौट
रहे थे। इसी दौरान
रिंग रोड फेज एक
पर प्रतापपट्टी क्रॉसिंग के पास एक
चालक ट्रैक्टर को लेकर सड़क
पार कर रहा था।
ट्रैक्टर देखकर बाइक चला रहे
महताब ने नियंत्रण को
दिया, जिससे दोनों में टक्कर गई।
टक्कर के बाद ट्रैक्टर
की ट्राली का पहिया राम
विलास और महताब को
कुचलते हुए आगे निकल
गया। कुचले
जाने के चलते दोनों
की मौके पर ही
मौत हो गई। वहीं,
जय प्रकाश बच गया। दुर्घटना
की जानकारी मिलने के बाद पुलिस
मौके पर पहुंची और
बाइक तथा ट्रैक्टर को
कब्जे में ले ली।
वहीं, घटना के बाद
ट्रैक्टर चालक ट्रैक्टर छोड़कर
फरार हो गया था।
पुलिस ने बताया कि
शव कब्जे में लेकर परिजनों
को सूचना देकर आवश्यक कार्रवाई
की जा रही है।
कैंट स्टेशन पर यात्रियों का हंगामा
सुरेश गांधी
वाराणसी। वंदे भारत एक्सप्रेस निरस्त होने से नाराज यात्रियों ने बुधवार की अपराह्न कैंट स्टेशन पर हंगामा किया। प्लेटफार्म संख्या एक स्थित निदेशक कक्ष में निदेशक के नहीं मिलने पर आक्रोशित यात्रियों ने ट्रैक पर उतरकर कामायनी एक्सप्रेस रोक दी। 15 मिनट तक कामायनी रूकी रही और यात्री नारेबाजी किए। आरपीएफ और जीआरपी ने किसी तरह यात्रियों को समझा बुझाया। देर शाम तक यात्रियों का समूह कैंट स्टेशन पर विरोध दर्ज कराया। प्रयागराज रामबाग रेलखंड पर निर्माण कार्य के चलते वंदे भारत एक्सप्रेस का संचालन बदले मार्ग से किया जा रहा है। सुबह अचानक रेलवे ने वाराणसी से प्रयागराज के बीच 22436 वंदे भारत एक्सप्रेस को निरस्त कर दिया। सुबह 11.32 बजे मोबाइल पर मैसेज मिलने पर यात्रियों ने अपना टिकट रिफंड कर दिया, जिन्हें मोबाइल पर मैसेज नहीं मिला वह स्टेशन पहुंच गए। 50 से 60 की संख्या में यात्री कैंट निदेशक कार्यालय पहुंचे और अपनी नाराजगी जताई। निदेशक अर्पित गुप्ता के कार्यालय में नहीं मिलने पर यात्री आक्रोशित हो गए।
निदेशक कक्ष के कर्मियों ने भी सही जानकारी नहीं दी। इससे भड़के यात्रियों ने प्लेटफार्म नंबर एक पर खड़ी कामायनी एक्सप्रेस को रोक दिया। निदेशक को बुलाने की मांग को लेकर नारेबाजी शुरू कर दी। कामायनी एक्सप्रेस के खड़ी होने की सूचना मिलते ही कैंट जीआरपी इंस्पेक्टर हेमंत कुमार सिंह और आरपीएफ निरीक्षक संदीप यादव ने यात्रियों को समझाया बुझाकर शांत कराया। इसके पूर्व यात्रियों को डिप्टी एसएस कार्यालय और सीआईटी कार्यालय भी धमके। वहां सीआईटी जनार्दन सिंह को भी घेर लिया था। शाम तक यात्रियों की समस्याओं का समाधान नहीं हो सका।पूजा में मां काली को पुजारी ने भेंट की गर्दन, मौत से मचा हड़कंप
मामला काशी
के
गायघाट
पत्थरगली
का
सुरेश गांधी
वाराणसी। शहर के राजघाट
निवासी पुजारी अमित शर्मा (40) ने
अपने ही घर के
आंगन में पूजा-पाठ
के दौरान गर्दन काट कर जान
दे दी। लोगों का
कहना है कि वह
अपनी पत्नी जूली और बेटे
समीर (10) के साथ पिछले
सात साल से गायघाट
पत्थरगली में अधिवक्ता सूरज
प्रसाद मेहरा के मकान में
किराये पर रहता था।
मंदिरों में पूजा पाठ
के साथ ही धार्मिक
पर्यटकों को काशी दर्शन
भी कराता था। मकान मालिक
सूरज प्रसाद के मुताबिक सोमवार
की दोपहर के समय अमित
घर के आंगन में
पूजा कर रहा था।
पत्नी जूली खाना बना
रही थी। तभी अचानक
घटी इस घटना से
लोगों मं हड़कंप मच
गया। इलाके में तरह- तरह
की चर्चाएं हो रही हैं।
कहा जा रहा है
कि उसने पूजा के
दौरान मां काली दर्शन
दो, मां काली दर्शन
दो... यह कहते हुए
गर्दन रेत लिया था।
सूरज प्रसाद मेहरा और आसपास के
लोगों ने बताया कि
अमित पूजा पाठ में
बहुत विश्वास रखता था। वह
काशी विश्वनाथ मंदिर में लोगों को
दर्शन-पूजन कराने के
साथ ही खुद भी
नियमित पूजा-पाठ करता
था। वह घर के
आंगन में पूजा करते
समय अचानक ऐसा कदम उठा
लिया। घटना के बाद
पत्नी किचन से बाहर
निकली तो आंगन में
अमित लहूलुहान हाल में पड़ा
था, जिसे तुरंत मंडलीय
अस्पताल कबीरचौरा लेकर गए। यहां
से उसे ट्रॉमा सेंटर
रेफर किया गया। जहां
चिकित्सकों ने अमित को
मृत घोषित कर दिया।
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