Sunday, 4 May 2025

बैंक के एटीएम कार्ड पर मिलता है लाखों का बीमा

बैंक के एटीएम कार्ड पर मिलता है लाखों का बीमा 

अगर एटीएम कार्ड धारक किसी हादसे का शिकार में एक हाथ या एक पैर खो देते है, या दिव्यांग हो जाते तो उसे मिलता है बीमा का लाभ

दुर्घटना के 60 दिनों के अंदर देना होगा दावा दस्तावेज

सुरेश गांधी

वाराणसी। आज एटीएम कार्ड हर व्यक्ति की जरूरत बन गई है. शॉपिंग से लेकर बैंक ट्रांजेक्शन तक के लिए इसका उपयोग होता है. या यूं कहे आज हर किसी के पास एक एक एटीएम या डेबिट कार्ड जरूर होता है, जिसका इस्तेमाल वो पैसों की निकासी या ऑनलाइन भुगतान के लिए करते हैं। लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि उनका ये कार्ड केवल लेन-देन का जरिया ही नहीं बल्कि एक मुफ्त बीमा सुरक्षा कवच भी देता है। 

अधिकांश बैंक अपने एटीएम कार्डधारकों को ₹1 लाख से लेकर ₹20 लाख तक का एक्सीडेंटल बीमा प्रदान करते हैं, वो भी बिना किसी अतिरिक्त प्रीमियम के। यह सुविधा कितनी महत्वपूर्ण हो सकती है, इसका अंदाजा तब होता है जब कोई अप्रिय दुर्घटना हो जाए और परिवार को उसकी भरपाई के लिए साधन की जरूरत हो। 

जी हां, जिसके पास एटीएम होता है, उसे बीमा भी मिलती है. दरअसल, बैंक ग्राहकों को जब डेबिट, एटीएम कार्ड इश्यू करता है, तो उस पर दुर्घटना बीमा या असमय मौत पर फ्री इंश्योरेंस भी दिया जाता है. ऐसे में अगर सड़क दुर्घटना में किसी की मृत्यु हो गयी हो और उनका एटीएम कार्ड है, तो संबंधित मृतक के परिजन दुर्घटना बीमा क्लेम कर लाभ उठा सकते हैं. हालांकि बीमा राशि एटीएम कार्ड की कैटेगरी के अनुसार मिलती हैं. खास यह है कि बेहद ही कम लोगों को इस बात की जानकारी होती है. बैंक भी ग्राहकों को ऐसा जानकारी देने में कतराते हैं. बैंक से जुड़े सूत्रों की मानें तो संबंधित मृतक के आश्रितों या पीड़ित के परिजन एटीएम कार्ड होने पर दुर्घटना के दौरान बीमा क्लेम कर सकते हैं। लेकिन दुर्घटना के 60 दिनों के अंदर दावे से संबंधित सभी दस्तावेजों को प्रस्तुत करना होगा. पूर्ण दस्तावेजों की प्राप्ति के बाद तथा पात्रता का मूल्यांकन होने बाद दि न्यू इंडिया इन्श्योरेंस कंपनी लिमिटेड द्वारा 10 दिनों में दावा राशि का भुगतान करेगी।

प्रावधान के तहत अगर किसी व्यक्ति को सरकारी या गैर-सरकारी बैंक का एटीएम का उपयोग करते 45 दिन हो गए हैं, तो वो कार्ड के साथ मिलने वाली इश्योरेंस सेवाओं का हकदार हो जाते हैं. हालांकि, अलग-अलग बैंको ने इसके लिए अलग अविधि तय कर रखी है. बता दें, बैंक ग्राहकों को कई तरह के डेबिट कार्ड जारी करते हैं

एटीएम कार्ड की कैटेगरी के अनुसार बीमा की राशि तय होती है. एटीएम कार्ड की कैटेगरी के अनुसार एक से 10 लाख रुपये तक बीमा की राशि मिलने का प्रावधान है. क्लासिक कार्ड पर एक लाख, प्लेटिनम कार्ड पर दो लाख, सामान्य मास्टर कार्ड पर 50 हजार, प्लेटिनम मास्टर कार्ड पर 5 लाख. वहीं वीजा कार्ड पर डेढ़ से दो लाख तक का फ्री इंश्योरेंस कवरेज मिलता है. अगर बात करें रुपे कार्ड की तो इस पर भी डेढ़ से दो लाख रुपये तक का दुर्घटना बीमा मिलता है.

ऐसे करें आवेदन

डेबिट कार्ड रखने वाले किसी की दुर्घटना में मौत हो जाती है, तो नॉमिनी संबंधित बैंक में जाकर इंश्योरेंस को क्लेम कर सकते हैं. इसके लिए बैंक में आवेदन करना होगा. नॉमिनी को इसके लिए मृत्यु प्रमाण पत्र देना होगा. साथ ही एफआइआर की कॉपी के साथ आश्रित का प्रमाण पत्र, मृतक के प्रमाण पत्र की मूल कॉपी भी देनी होगी. इस प्रोसेस के पूरा होने के बाद आपको दुर्घटना बीमा का लाभ मिल जाता है. शर्त सिर्फ इतनी है कि आपने 90 दिन के अंदर कार्ड का उपयोग किया हो।

एटीएम कार्ड से जुड़ा बीमा

भारत के लगभग सभी प्रमुख बैंक जैसे स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, यूनियन बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा आदि ने ग्राहकों को एटीएम कार्ड या डेबिट कार्ड के साथ एक एक्सीडेंटल डेथ इंश्योरेंस या पर्सनल एक्सीडेंट कवर की सुविधा देते हैं। यह बीमा तब मदद करता है जब कार्डधारक की मृत्यु किसी दुर्घटना में हो जाती है. चाहे सड़क हादसा हो या हवाई दुर्घटना। यह अलग बात ळे कि हर बैंक और हर डेबिट कार्ड पर अलग-अलग बीमा राशि निर्धारित होती है। इस राशि की जानकारी प्राप्त करने के लिए सबसे अच्छा तरीका है कि आप अपने बैंक की वेबसाइट पर जाएं या ब्रांच जाकर जानकारी लें।

कब और कैसे मिलता है एटीएम कार्ड का इंश्योरेंस कवर

यह बीमा अपने आप एक्टिव नहीं होता। इसके लिए कुछ जरूरी शर्तें होती हैं जिन्हें पूरा करना होता ळे

ट्रांजैक्शन की शर्त : बीमा तभी लागू होता है जब कार्डधारक ने दुर्घटना की तारीख से 90 दिनों के भीतर उस कार्ड से कोई फाइनेंशियल ट्रांजैक्शन किया हो। जैसे एटीएम से कैश निकासी या ऑनलाइन शॉपिंग।

मौत का कारण : कार्डधारक की मृत्यु किसी बीमारी से नहीं, बल्कि किसी एक्सीडेंट से होनी चाहिए।

क्लेम टाइमलाइन : दुर्घटना के बाद अधिकतम 90 दिनों के भीतर बैंक में इंश्योरेंस क्लेम करना अनिवार्य है।

इन शर्तों में से कोई एक भी पूरी नहीं होती तो बीमा राशि का क्लेम नहीं मिलता।

इसके लिए पुलिस में शिकायत, जरूरी डॉक्यूमेंट्स और केवाईसी के बाद बैंक तय अवधि में जरुरी होता है

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